भारत को एक और बड़ी सफलता हाथ लगी है। दरअसल इसरो मे 9 मई 2024 को एक और बड़ी उपलब्धि हासिल की है। इसरो ने 665 सेकंड की अवधि के लिए एडिटिव मैन्युफैक्चरिंग (एएम) तकनीक के माध्यम से निर्मित लिक्विड रॉकेट इंजन की सफल हॉट टेस्टिग पूरी कर ली है। आपको बता दें की इसमें उपयोग किया जाने वाला इंजन पीएसएलवी के ऊपरी चरण का PS4 इंजन है। इसरो के इस पीएस4 इंजन को आसान शब्दों में 3डी प्रिंटिंग रॉकेट इंजन भी कहा जाता है
इसरो का कहना है की, इस नए इंजन की सहायता से 97 प्रतिशत कच्चे माल का बचत कि जा सकती है, इतना ही नहीं इससे उत्पादन समय को 60 प्रतिशत तक कम भी किया जा सकता है। अंतरिक्ष संस्थान के बयान के मुताबिक, इसरो ने तरल रॉकेट इंजन का सफलतापूर्वक परीक्षण कर मील का पत्थर छुआ है। इस इंजन को एएम तकनीक से तैयार किया गया है। दरअसल यह इंजन ऑक्सीडाइजर के रूप में नाइट्रोजन टेट्रोक्साइड और दबाव-आधारित मोड में ईंधन के रूप में मोनो मिथाइल हाइड्राजीन के अर्थ-स्टोरेबल प्रोपेलेंट संयोजन का उपयोग करता है। जिसे तरल प्रोपेलेंट प्रणाली केंद्र द्वारा विकसित किया गया था। जिसके बाद एलपीएस ने इस इंजन को फिर से डिजाइन किया है। जिसके चलते ये एडिटिव मैन्युफैक्चरिंग (डीएफएएम) अवधारणा के लिए डिजाइन के अनुकूल हो गया।
665 सेकंड तक हुआ था परीक्षण।
इस इंजन का 665 सेकंड तक सफलतापूर्वक परीक्षण किया गया।जिसके बाद ये पाया गया की सभी प्रदर्शन मानकों ने उम्मीद के अनुसार काम किया। पीएस4 इंजन को PSLV कार्यक्रम में शामिल करने की योजना बनाई गई है।