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इसी दिन हुआ था मां सरस्वती का जन्म, जानें किस मुहूर्त में करनी है पूजा

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Vasant Panchmi 2024: आज वसंत पंचमी का त्यौहार बड़े उत्साह से मनाया जा रहा है। यह त्यौहार माघ महीने के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को मनाया जाता रहा है। हिंदू परंपराओं के अनुसार प्रत्येक वर्ष को छह त्रृतुओं में बांटा जाता है, जिसमें से वसंत को सभी ऋतुओं का राजा भी कहा गया है। वसंत ऋतु की शुरूआत के दिन ही वसंत पंचमी के पर्व को मनाया जाता रहा है।

इस मौके पर कला, संगीत और विधा की देवी माता सरस्वती की पूजा-आराधना का विधान है। भारतीय संस्कृति में इस दिन को शिक्षा से जोड़कर देखा जाता है। इस साल वसंत पंचमी का शुभकारी योग 14 फरवरी यानी कि आज बन रहा है। इस बार की माघ माह के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि का योग शाम के 5 बजकर 40 मिनट तक है। इस वसंत पंचमी पर रेवती और शुभ योग एक साथ मिल रहे हैं। इसलिए यह ज्यादा मंगलकारी वसंत पंचमी है। ऋतुराज वसंत के आगमन के साथ ही “होरी और धमार” गीत भी गुनगुनाए जाने लगेंगे। इस मौके पर गेहूं और जौ की बालियां भगवान को अर्पित की जाती है।

सरस्वती पूजा का मुहूर्त

हर साल माघ शुक्ल पंचमी को सरस्वती पूजा का आयोजन होता है। इसी दिन मां सरस्वती की उत्पत्ति हुई थी। वसंत ऋतु को कामोद्दीपक का पर्याय भी कहा जाता है। इसके प्रमुख देवता काम और रति हैं, जिस कारण वसंत पंचमी के दिन कामदेव और देवी रति की भी पूजा करने का विधान है। आज वसंत पंचमी 2024 का मुहूर्त इस प्रकार है-

ब्रह्म मुहूर्त- सुबह के 5 बजकर 18 मिनट से सुबह के 6 बजकर 9 मिनट तक

रेवती नक्षत्र- सुबह के 10 बजकर 43 मिनट तक, फिर अश्विनी नक्षत्र

सरस्वती पूजा मुहूर्त- सुबह के 11 बजकर 13 मिनट से दोपहर के 1 बजकर 10 मिनट तक

रवि योग- सुबह के 10 बजकर 43 मिनट से कल सुबह 7 बजे तक

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